गाजियाबाद स्मार्ट सिटी मिशन: जोन-1 से शुरू होगा बदलाव, जीडीए का मास्टरप्लान तैयार!

गाजियाबाद स्मार्ट सिटी मिशन: गाजियाबाद विकास प्राधिकरण (जीडीए) ने शहर को और अधिक व्यवस्थित, स्वच्छ और आधुनिक बनाने के लिए एक नया मास्टरप्लान तैयार किया है। इस योजना के तहत शहर के 8 जोनों को छोटे-छोटे सेक्टरों में बांटा जाएगा, ताकि विकास कार्यों को तेजी और पारदर्शिता के साथ पूरा किया जा सके।

इस महत्वाकांक्षी योजना की शुरुआत जोन 1 से होगी, जिसे 4 सेक्टरों में विभाजित किया जाएगा। इस प्लान के जरिए जीडीए का लक्ष्य है कि साफ-सफाई, प्रकाश व्यवस्था, कूड़ा निस्तारण और अवैध निर्माण पर प्रभावी नियंत्रण स्थापित किया जाए। यह योजना गाजियाबाद को राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र (एनसीआर) में एक आदर्श स्मार्ट सिटी के रूप में स्थापित करने की दिशा में एक बड़ा कदम है।

नंदग्राम और राजनगर एक्सटेंशन पर फोकस

जीडीए के उपाध्यक्ष अतुल वत्स के नेतृत्व में जोन 1 को प्राथमिकता दी गई है, जिसमें राजनगर एक्सटेंशन, नंदग्राम और आसपास के कई गांव शामिल हैं। इस जोन को 4 सेक्टरों में बांटकर विकास कार्य शुरू किए जाएंगे।

प्रत्येक सेक्टर में अलग-अलग टीमें तैनात होंगी, जो साफ-सफाई, स्ट्रीट लाइट्स की मरम्मत, कूड़ा निस्तारण और अवैध निर्माण की निगरानी करेंगी। जीडीए अधिकारियों का कहना है कि इस पायलट प्रोजेक्ट की सफलता के बाद इसे शहर के बाकी 7 जोनों में भी लागू किया जाएगा।

योजना के प्रमुख उद्देश्य

जीडीए की इस सेक्टर आधारित योजना का उद्देश्य न केवल विकास कार्यों को गति देना है, बल्कि शहरवासियों को बेहतर सुविधाएं प्रदान करना भी है। योजना के प्रमुख बिंदु इस प्रकार हैं:

  • अवैध निर्माण पर सख्ती: प्रत्येक सेक्टर में सुपरवाइजर और अधिकारियों की नियमित निगरानी से अवैध निर्माण को रोका जाएगा।
  • स्वच्छता पर जोर: सेक्टर-स्तरीय सफाई टीमें कूड़ा निस्तारण और साफ-सफाई को सुनिश्चित करेंगी।
  • प्रकाश व्यवस्था में सुधार: स्ट्रीट लाइट्स की नियमित मरम्मत और नई एलईडी लाइट्स की स्थापना से रात में सुरक्षा बढ़ेगी।
  • नागरिक शिकायतों का त्वरित समाधान: सेक्टर-स्तरीय सुपरवाइजरों की रिपोर्ट्स और वरिष्ठ अधिकारियों के औचक निरीक्षण से शिकायतों का तेजी से निपटारा होगा।
गाजियाबाद स्मार्ट सिटी मिशन

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जीडीए की अन्य महत्वपूर्ण योजनाएं

जीडीए ने गाजियाबाद को एक स्मार्ट सिटी बनाने के लिए कई अन्य परियोजनाओं पर भी काम शुरू किया है, जो 2025-26 में शहर की तस्वीर बदल सकती हैं। इनमें शामिल हैं:

  • हरनंदीपुरम टाउनशिप प्रोजेक्ट: दिल्ली-मेरठ एक्सप्रेसवे के पास 350 हेक्टेयर भूमि पर एक आधुनिक टाउनशिप का निर्माण।
  • हिंडन रिवर फ्रंट डेवलपमेंट: हिंडन नदी के किनारे सौंदर्यीकरण, जिसमें पार्क, जॉगिंग ट्रैक और रिवरसाइड सैरगाह शामिल हैं।
  • स्मार्ट ट्रैफिक मैनेजमेंट सिस्टम: शहर में ट्रैफिक जाम की समस्या को कम करने के लिए स्मार्ट सिग्नल और सीसीटीवी निगरानी।
  • ग्रीन बेल्ट डेवलपमेंट: शहर के प्रमुख क्षेत्रों में हरियाली बढ़ाने के लिए पौधरोपण और पार्कों का विकास।

सेक्टर आधारित योजना की विशेषताएं और लाभ

विशेषतालाभ
सेक्टर विभाजनजोन 1 को 4 सेक्टरों में बांटकर शुरूआत, बाद में सभी 8 जोनों में लागू।
अवैध निर्माण पर नियंत्रणसुपरवाइजरों की दैनिक निगरानी और वरिष्ठ अधिकारियों के औचक निरीक्षण।
साफ-सफाईप्रत्येक सेक्टर में विशेष सफाई टीमें और कूड़ा निस्तारण की व्यवस्था।
प्रकाश व्यवस्थाएलईडी स्ट्रीट लाइट्स और नियमित मरम्मत से बेहतर सुरक्षा।
शिकायत निवारणसेक्टर-स्तरीय सुपरवाइजरों और ऑनलाइन पोर्टल के जरिए त्वरित समाधान।
पायलट प्रोजेक्टजोन 1 में शुरूआत, सफलता पर अन्य जोनों में विस्तार।
गाजियाबाद स्मार्ट सिटी मिशन

जीडीए की निगरानी और कार्यप्रणाली

इस योजना को प्रभावी बनाने के लिए जीडीए ने एक सख्त निगरानी तंत्र विकसित किया है। प्रत्येक सेक्टर में तैनात अवर अभियंता और सहायक अभियंता सुपरवाइजरों की दैनिक रिपोर्ट्स की समीक्षा करेंगे। इसके अलावा, जीडीए के वरिष्ठ अधिकारी समय-समय पर औचक निरीक्षण करेंगे ताकि यह सुनिश्चित हो कि विकास कार्य निर्धारित समय और गुणवत्ता के साथ पूरे हों। जीडीए उपाध्यक्ष अतुल वत्स ने कहा, “हमारा लक्ष्य गाजियाबाद को एक स्मार्ट, स्वच्छ और सुरक्षित शहर बनाना है। यह योजना विकास कार्यों में गति और पारदर्शिता लाएगी।”

मास्टर प्लान 2031

जीडीए का मास्टर प्लान 2031 शहर के समग्र विकास के लिए एक रोडमैप है। इस प्लान के तहत गाजियाबाद, लोनी और मोदीनगर के 33,000 हेक्टेयर से अधिक क्षेत्र में आवासीय, व्यावसायिक और औद्योगिक विकास को बढ़ावा दिया जाएगा। साथ ही, दिल्ली-मेरठ एक्सप्रेसवे और ईस्टर्न पेरिफेरल एक्सप्रेसवे के आसपास के क्षेत्रों में नई टाउनशिप्स और इन्फ्रास्ट्रक्चर प्रोजेक्ट्स विकसित किए जाएंगे।

नागरिकों के लिए सुझाव

जीडीए ने शहरवासियों से अपील की है कि वे इस योजना को सफल बनाने में सहयोग करें। अवैध निर्माण की सूचना तुरंत जीडीए के हेल्पलाइन नंबर या ऑनलाइन पोर्टल पर दें। साथ ही, कूड़ा निस्तारण और स्वच्छता के लिए निर्धारित नियमों का पालन करें।

अक्सर पूछे जाने वाले सवाल (FAQs)

1. जीडीए का सेक्टर आधारित मास्टरप्लान क्या है?

यह योजना शहर के 8 जोनों को छोटे सेक्टरों में बांटकर विकास कार्यों को तेज करने की रणनीति है। शुरुआत जोन 1 से होगी, जिसे 4 सेक्टरों में बांटा जाएगा।

2. इस योजना से शहरवासियों को क्या लाभ होंगे?

साफ-सफाई, बेहतर प्रकाश व्यवस्था, अवैध निर्माण पर नियंत्रण और शिकायतों का त्वरित समाधान जैसे लाभ होंगे।

3. जोन 1 में किन क्षेत्रों को शामिल किया गया है?

जोन 1 में राजनगर एक्सटेंशन, नंदग्राम और आसपास के कई गांव शामिल हैं।

4. अवैध निर्माण को रोकने के लिए जीडीए क्या करेगा?

प्रत्येक सेक्टर में सुपरवाइजर और अधिकारियों की निगरानी होगी, साथ ही वरिष्ठ अधिकारियों के औचक निरीक्षण होंगे।

5. जीडीए की अन्य योजनाएं क्या हैं?

जीडीए हरनंदीपुरम टाउनशिप, हिंडन रिवर फ्रंट सौंदर्यीकरण, स्मार्ट ट्रैफिक सिस्टम और मास्टर प्लान 2031 पर काम कर रहा है।

गाजियाबाद विकास प्राधिकरण की यह नई पहल शहर को एक स्मार्ट और व्यवस्थित शहर बनाने की दिशा में महत्वपूर्ण कदम है। यदि आप इस योजना के बारे में अधिक जानकारी चाहते हैं या अपने सुझाव देना चाहते हैं, तो जीडीए की आधिकारिक वेबसाइट (gdaghaziabad.in) पर संपर्क करें।

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